क्या आप Adsende का इस्तमल अपने blog या फिर अपने Youtube channel मे करते है यदि हाँ तब तो आपने इन technical terms जैसे की CPL, CPC, CTR, CPM, CPA केए जिक्र तो पहले से सुना होगा यदि नहीं तब चिंता करने की कोई भी बात नहीं है क्योंकि आज हम ऐसे में विस्तार में समझाएंगे
वैसे यह उतने भी कठिन नहीं होते हैं नेकी दिखाई पड़ते हैं वैसे अगर ऐडसेंस का कभी इस्तेमाल किया होगा तब जगरोन का इस्तेमाल जरूर देखा होगा क्योंकि यह ऐडसेंस नेकी ऑनलाइन एडवर्ट इंडस्ट्री मैं काफी इस्तेमाल किया सभी कंप्लेन में
आपको इनकी बेसिक टंकी से समझना होगा कहीं तभी जाकर और भी आज मैंने सोचा कि आप लोगों को इंडिया डीपीसी या सीपीएल क्या होता है इसे कैसे कैलकुलेट किया जाता है इनकी क्या के विषय में पूरी जानकारी प्राप्त करें आपको भी इसी समझने में आसानी होगी किस बात की चलिए इसके बारे में अच्छी तरह से समझाने शुरू करते हैं
What Is CPL, CPC, CTR, CPM, CPA, In Hindi
यहां आज इस आर्टिकल में अभी डिजिटल मार्केटिंग मैं इस्तेमाल होने वाले क्रॉनिक जैसे कि पीएम सीटीआर सीपीए सीपीसी और बीपीएल के विषय में जानेंगे और इसके साथ में जानेंगे ऐसे इन सभी का इस्तेमाल किया जाए
cpm : cast per mille thousand क्या-
सीपीएम का फुल फॉर्म होता है कॉस्ट पर मिले सीपीएम का दूसरा फुल फॉर्म होता है कास्ट पर थाउजेंड जहां पर या एक सिंपल होता है 1000 का अगर हम इसे रोमन नंबर में लिखे तब वही ऑनलाइन एडवरटाइजिंग आप किसी पार्टी कूलर बैनर एड्स में जितने भी इंप्रेशन होते हैं उसी हिसाब में आप चार्ज कर सकते हैं ऑनलाइन एडवरटाइजिंग भाषा में कहीं तब यह कॉस्ट पर थाउजेंड page इंप्रेशन को रेफर करता है
सीपीएम असल में नंबर आप प्लीज दर्द को रिफर करता है साइड में के द्वारा आपकी जानकारी के लिए आए रे नेटवर्क ऐडसेंस किसी वेबसाइट की हाइट रेवेन्यू को कैलकुलेट करने के लिए बीपीएम का ही इस्तेमाल
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सीपीएम कॉस्ट पर इंप्रेशन/ कास्ट पर थाउजेंड डिप्रेशन cpi वह कास्ट होता है एडवरटाइजर यह बात पर राजी होते वैसे प्रदान करने के लिए जब उनके एडवर्टाइजमेंट पर लोग देखें तब
वो अक्सर पर 1000 लोगों के हिसाब से rupay प्रदान करते हैं पार्टी कूलर एडवरटाइजमेंट पर cpm एक ऐसा मार्केटिंग मॉडल होता है जिसमें की आईडी पर क्लिप को लेकर compulsion नहीं होता है किसी विजिटर के लिए केवल वेबसाइट पर हो तब मॉडल के तरह आ जाता है और उसे एक मान लिया जाता है
CPM को कैसे measure किया जाता है
यह हो अमाउंट होता है जिंदगी पर 1000 इंप्रेशन के हिसाब से करीब 1000 प्रदान किया जाता है
इसे प्राप्त करने का फार्मूला है.
cpm= cast/target audience/ 1000
or
cpm= cost x1000/ target audience
cp "m" एक roman number होता है या 1000 के लिए
CPM के क्या फायदे होते हैं
cpm कॉस्ट पर इंप्रेशन के साथ कास्ट पर acquisition cpa और कॉस्ट पर क्लिक cpa एक बहुत ही बेहतरीन तरीका होता है किसी selected ऑनलाइन मार्केटिंग मॉडल की प्रॉफिट बिलिटी और कास्ट इफेक्टिवनेस्स को analyse करने के लिए
CPI OR CPM उन advertisers के लिए ज्यादा related होता है दूसरे media sources जैसे की radio, telivision or print media, और ओ selling कर रहे होते है media की analysed और estimated listenership, or viewership aur readership के हिसाब से
एक बार advertiser इस बार को लेकर राजी हो जाये की उसे प्रति
1000 इंप्रेशन में कितने मूल्य भुगतान करना होगा ये वही मूल्य होता है सीपीएम के गाइडलाइंस के हिसाब से
CTR: click-through rate क्या है-
सीपीआर का फुल फॉर्म होता है click-through rate यह एक ऐसा तरीका होता है जिसके माध्यम से किसी ऑनलाइन एडवरटाइजिंग इसको भी चकिया जा सीटीआर परसेंटेज को रिपेयर किया जाता है कि इसे पाने के लिए नंबर आफ यूजर्स इन्होंने वेब पेज के एड्स पर क्लिक किया को डिवाइड किया जाता है
नंबर आफ टाइम्स वह ऐड पेजेस में delivered (impressions) हुए उदाहरण के लिए अगर एक बैनर एड करीब 100 टाइम्स शो इंप्रेशन deliver हुआ और एक पर्सन ने यह किया जी की क्लिक को रिकॉर्ड किया गया जोर जटिन यार होगा होगा एक परसेंट और इसे डिस्प्ले किया जाएगा 1.0 से
यह एक ऐसा जिसमें की यह पता चलता है कि कितने प्रतिशत यूजेस इंगेज या देखते हैं वेब पेज को और वह जोकि वेबपेज में स्थित किसी particular ad को click करते हैं इस method का इस्तेमाल किसी ऐड के सक्सेस को एनालाइज करने के लिए भी किया जाता है
एक हाई क्लिक throurate से वेबसाइट हुनर को यह पता चलता है कौन सी एड्स पर ज्यादा केले खा रहे हैं जी से वह अपने फायदे के साथ से इस्तेमाल कर सके एक टिपिकल क्लिक थ्रू रेट होता है दो से तीन यूज़र ही 1000 यूजर से
CTR को कैसे measure किया जाता है-
क्लिक थ्रू रेट असल में एड्स के ऊपर इंडिविजुअल क्लिक की परसेंटेज होता है
क्लिक थ्रू रेट का फार्मूला होता है-
- click through rate =(total clicks ad के ऊपर ) / (total impressions)
- ckick through rate की मदद से advertisement की effectiveness को measure आ जाता है
- इसका formula होता है
- ctr = (clicks / impressions ) x 100
अगर एक क्लिक हो प्रति 1000 इंप्रेशन पर क्लिक थ्रू रेट होता है 1.0%
CTR आईटीआर के क्या फायदे होते हैं-
क्लिक थ्रू रेट (ctr) एक ऐसा metric होता है जीसका इस्तेमाल ऐड परफॉर्मेंस को एनालाइज करने के लिए होता है जिसे कि कैलकुलेट किया जाता है ऊपर बताए गए फार्मूला की मदद से क्लिक थ्रू रेट किसी यूजर को उनके एडवर्टाइजमेंट के इफेक्टिवेनेस के विषय में डीटेल्स लुक और deeper नॉलेज प्रदान करता है
इफेक्टिव सीटीआर के बारे में चलिए हम बेहतरीन तरीके से सीखते हैं-
यह आपको मदद करती है दो एक्शन एड कॉपी को evaluate करने के लिए
यूजर को यह potetial कन्वर्जन प्रदान करती है
competitors के साथ कंपेयर होने में मदद प्रदान करता है साथ में compaigns के बीच भी
यह क्वालिटी score को enhance करने में मदद प्रदान करता है जो की ultimately cpa को बढ़ाने में मदद करती है
CPA: cost per action or cost per acquisition क्या है-
ई पी ए का फुल फॉर्म होता है cost per action or cost per acquisition एक तरह से Advertising performance based होती है और यह बिजनेस के affiliate यह मार्केटिंग sector मैं बहुत ही कामन होती है प्रकार की पेमेंट स्टेप पगली सही का पूरा रिस्क लेता है फोरमैन करने और इसमें एडवरटाइजर कभी भी करता है जब कोई यूजर कोई एक्शन लेता है परचेज साइन अप
हमें यह कह सकते हैं कि यह बेस्ट प्रकार का रेट होता है बैनर एडवरटाइजमेंट पि करने का और साथ में यह worst type का रेट होता है चार्ज करने के लिए
cpa cost per action or cost per acquisition का ऐसा मार्केटिंग मॉडल है जिसमें कि एडवरटाइजर्स को केवल तभी पे करना होता है अपने agreed cost के हिसाब से जब उनके हिसाब से अगर delivery होती है किसी desired acquisition या कोई एक्शन हो
सबसे ज्यादा इफेक्टिव मार्केटिंग मॉडल माना जाता है क्योंकि एडवरटाइजर्स को एडवरटाइजमेंट के लिए तभी पब्लिशर को पैसे देने पड़ते हैं जब होने का कार्य पूर्ण होता है इस मॉडल में कन्वर्जन रेट से निर्भर करती है एडवर्टाइज के ऊपर और इसे पब्लिशर के द्वारा कंट्रोल नहीं किया जा सकता है
इसे अक्सर affiliate मार्केटिंग लिंक्स मैं ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है इस मॉडल का फोकस कन्वर्जन पता है ना कि जस्ट क्लिक पर इस मॉडल में कन्वर्जन ऑप्टिमा को ऑप्टिमाइज करने के बाद एक टारगेट सीपीए को सेट किया जाता है बेस्ट आउटकम प्राप्त करने के लिए
CPA के क्या फायदे होते हैं-
cpa (cost per acquisition/ cost per action) एक ऐसा मॉडल है model जिसका इस्तेमाल पेड़ मार्केटिंग में किया जाता है क्यों उन्हें steadily control तरीके से इन्वेस्टमेंट के flow को चलाने में मदद करता है advertisement main
गूगल को cpc की हिसाब से ना पे कर cpa की मदद से आपको केवल तभी पता है जब कोई ad पर क्लिक करता है और कोई परफॉर्म करता है desire acquisiteon जैसे कि advertiser के द्वारा सेट किया गया होता है यह एक्शन या cquisition कोई lead generation. sale subscription or डाउनलोड हो सकता है or
फिर कोई है रेकी एडवरटाइजर के द्वारा डिफाइन किया गया होता है मॉडल आपको किसी को सही सर्च कर करने के लिए ना कि फालतू के सर्च करो जीने की आप के बिजनेस दिखाई नहीं नहीं किया गया है केवल आपके द्वारा निर्धारित गाइड एक्शन के परफॉर्म होने के बाद ही एडवरटाइजर्स पैसों का भुगतान करना पड़ता
CPC: Cost per click क्या है-
ईपीसी का फुल फॉर्म होता हैCost per click यह एक प्रकार का पेमेंट ऑप्शन होता है जो कि पब्लिशर को पे करता है कस्टमर किसी एड links पर क्लिक करें या फिर किसी एडवरटाइजर के ऑफर पर क्लिक करें सीपीसी एक प्रकार का इंटरनेट मार्केटिंग फार्मूला भी है शीशे की संभाल किया जाता है बैनर एड्स की प्राइस को निर्धारित करने के लिए कुछ एडवरटाइजर्स इस बात के लिए भी पब्लिशर्स को पे करते हैं कि उनके बैनर एड्स को कितने बार या गया
Cost per click को पे पर क्लिक भी कहा जाता है यह एक mostly इस्तेमाल किया जाने वाला
online marketing method है डीजे की वेबसाइट में डी रफी के एडवरटाइजर के द्वारा जब उनके वेबसाइट में एड्स को क्लिक किया जाता है इसलिए कभी-कभी ऐसे ऐसे अमाउंट भी कहा जाता है जिन्हें कि केवल पैसे प्राप्त करने के लिए के द्वारा ही खर्च किया जाता है
CPC को कैसे meadure किया जाता है
- उसे कैलकुलेट करने का फार्मूला होता
- (competitor asrank / आपकी quality score ) +0.1 = actual cpc
CPC के क्या फायदे होते हैं-
cpc- Cost per click इतनी ज्यादा महत्व इसलिए है जीपीएस की वैल्यू यह निर्धारित करती है कि किसी paid search campaigns ki financial success कितनी है साथ ही इसे एनालाइज कर आईडेंटिफाई किया जा सकता है
की एडवर्ड्स आपको कितनी चार्ज करने वाली है यह आपको आपके ROI (Return on investment ko analyze ) करने में मदद करती है आप यह जान सकते हैं आपके intended action के लिए आपने ज्यादा पैसों का भुगतान किया या कम पैसों का क्योंकि overall ROI को analyze किया जाता है क्वालिटी और कितने आपको चार्ज करने वाली है इसलिए यह जरूरी है कि आपको कास्ट पर क्लिक को प्यार करनी चाहिए और उसके लिए आपको एडवर्टाइजमेंट हेलो और उसकी कास्ट दोनों का ख्याल रखना पड़ेगा
CPL : cost per lead क्या है-
cpl का फुल फॉर्म होता है CPL : cost per lead यह एक अलग ही प्रकार का ऑनलाइन advertising model होता है
जैसे कि organizations के द्वारा इस्तेमाल किया जाता है जोकि इस बात के ऊपर ज्यादा इंटरेस्टेड होते हैं कि के द्वारा इन्वेस्ट किए गए पर उन्हें कितना lead generat इस प्रकार के मार्केटिंग मॉडल में यूजर किसी एडवरटाइजमेंट बैनर पर क्लिक करता है जब वह एक टारगेट साइट पर रीडायरेक्ट हो जाता है और उसे वहां पर एक फॉर्म फिल करने के लिए निर्देश किया जाता है कोई सब्सक्रिप्शन को परफॉर्म करने के लिए कहा जाता है
देखी हो यूजर उस एक्शन को परफॉर्म कर लेता है तब ऐसे में lead generate हो जाता है
CPL को कैसे MEASURE किया जाता है-
CPL KO Measure करने के लिए बहुत से तरीके हैं वैसे इस कैलकुलेट करने के लिए कैलकुलेशन को इस्तेमाल करने के लिए कहा जाता है तो लेट करने के लिए आपको बस simply campaign ke total price ko divide करना होगा आपकी conversation ke amount ke साथ
उदाहरण के लिए अगर आपके $500 खर्च किए advertisement मैं और आपने रिसीव किया 10 क्लिक आपकी सीपीएल हो गई $50
CPL के क्या फायदे होते हैं-
CPL : cost per lead OR CPL आपके बिजनेस के लिए बहुत ही यूज़ ई मार्केटिंग मॉडल की जो बेसिकthing होती है वह होती है रिजल्ट्स में फोकस होना sales me improvement, revenue me change, investment me return और वह सभी चीजें कि उससे संबंधित हो
cpl मदद से यह आपको करती है आपकी बिजनेस वैल्यू को करने के लिए यदि आपकी बिजनेस छोटी है या new है दो सीपीएल आपको significantly मदद कर सकता है campaign की प्रारंभ में ही सीपीएल बहुत ही हायर रिजल्ट प्रदान करता है यह वह बेसिक पैड मार्केटिंग मॉडल सोते हैं यह नहीं कि प्रत्येक एडवरटाइजर और बिजनेस वेबसाइट ओनर को जरूर से इस पीरियंस करना चाहिए
CPS क्या है-
जीपीएस का फुल फॉर्म होता है COST PER SALE यह बहुत ही ऑनलाइन मार्केटिंग Method यदि हम अभी के समय की बात करें यह दोनों पगली सर टाइगर उपयोगी होता है क्योंकि इस समय आपको प्रत्येक सक्सेसफुल सेल मैं एक कमीशन प्राप्त होता है ज्यादातर affiliate plan इसी cost per sale model के ऊपर ही आधारित होते हैं
CPL, CPC, CTR, CPM, CPA, In Hindi
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